ओडिशा: यौन उत्पीड़न से आहत छात्रा की मौत, कांग्रेस और विपक्षी दलों ने 17 जुलाई को किया बंद का आह्वान

ओडिशा के बालासोर स्थित फकीर मोहन (स्वायत्त) महाविद्यालय की बी.एड. द्वितीय वर्ष की छात्रा ने यौन उत्पीड़न के आरोपों पर कार्रवाई नहीं होने से आहत होकर कॉलेज परिसर में खुद को आग लगा ली थी। गंभीर रूप से झुलसी छात्रा को एम्स भुवनेश्वर में भर्ती कराया गया था, जहां सोमवार देर रात इलाज के दौरान उसकी मौत हो गई। इस हृदयविदारक घटना ने पूरे राज्य को झकझोर कर रख दिया है।
इस दर्दनाक मामले को लेकर ओडिशा कांग्रेस अध्यक्ष भक्त चरण दास ने राज्य सरकार पर महिलाओं की सुरक्षा में विफल रहने का आरोप लगाया। उन्होंने बताया कि इस घटना के विरोध में कांग्रेस सहित आठ विपक्षी दलों ने मिलकर 17 जुलाई को ‘ओडिशा बंद’ का आह्वान किया है। वामपंथी दलों ने भी इस बंद को समर्थन दिया है।
भक्त चरण दास ने सत्तारूढ़ भाजपा पर गंभीर आरोप लगाते हुए कहा, “छात्रा पेट्रोल लेकर कॉलेज पहुंची, लेकिन किसी ने उसे रोका नहीं। सभी मूकदर्शक बने रहे। यह राज्य सरकार की संवेदनहीनता और प्रशासन की नाकामी का प्रतीक है। छात्रा की मौत के बाद कॉलेज के प्रिंसिपल और शिक्षा विभाग के विभागाध्यक्ष को गिरफ्तार कर लिया गया है। ओडिशा के राज्यपाल हरि बाबू कंभमपति ने इस घटना को ‘त्रासदी से बढ़कर’ बताते हुए कॉलेज परिसरों में सुरक्षा व्यवस्था की समीक्षा की आवश्यकता जताई है।
मुख्यमंत्री मोहन चरण मांझी ने पीड़ित परिवार के लिए 20 लाख रुपये की अनुग्रह राशि देने की घोषणा की है। हालांकि विपक्ष का कहना है कि मुआवजा इस गंभीर मामले का समाधान नहीं, बल्कि दोषियों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई ही सच्चा न्याय होगा। यह घटना न केवल शिक्षा संस्थानों में सुरक्षा की गंभीर खामियों को उजागर करती है, बल्कि प्रशासन की संवेदनशीलता पर भी बड़े सवाल खड़े करती है।