अभी और तेवर दिखाएगी गर्मी, अगले तीन दिनों में बढ़ सकता तापमान, हिमस्खलन की चेतावनी
उत्तराखंड में अभी गर्मी और प्रचंड रूप दिखाएगी। अगले तीन दिन में तापमान में और बढ़ोत्तरी हो सकती है। वहीं चढ़ता पारा मार्च में ही रिकार्ड बनाने की ओर अग्रसर है। पिछले कई दिनों से प्रदेश के ज्यादातर इलाकों में मौसम शुष्क है।
शुष्क मौसम के बीच चटख धूप भीषण गर्मी का एहसास करा रही है। अब तक सर्वाधिक तापमान पंतनगर में 35.2 डिग्री सेल्सियस रिकार्ड किया गया। जोकि अभी और बढ़ सकता है।
उत्तराखंड के अधिकतर इलाकों में सुबह से ही चटख धूप
वहीं शनिवार को भी उत्तराखंड के अधिकतर इलाकों में सुबह से ही चटख धूप खिली रही। इसके अलावा यह बीते 12 वर्षों में पहला मौका है जब मार्च में पारा लगातार तीन सप्ताह तक सामान्य से पांच डिग्री सेल्सियस ऊपर रहा।
अगले तीन दिन में पारे में और इजाफा होने की आशंका
वहीं मौसम विभाग की ओर से अगले तीन दिन में पारे में और इजाफा होने की आशंका जताई जा रही है। जिससे इस बार मार्च में पारे का रिकार्ड स्थापित करने के आसार हैं।
मौसम विभाग ने यलो अलर्ट जारी किया
चढ़ते पारे को देखते हुए मौसम विभाग ने यलो अलर्ट जारी किया है। मौसम विज्ञान केंद्र के निदेशक बिक्रम सिंह के अनुसार प्रदेश में मौसम शुष्क रहेगा।
ज्यादातर इलाकों में तापमान में उछाल आने की संभावना
रविवार से मंगलवार के बीच प्रदेश के ज्यादातर इलाकों में तापमान में उछाल आने की संभावना है। हिमालयी क्षेत्रों में बर्फ पिघलने और हिमस्खलन की आशंका है। वहीं वनों में आग की घटनाओं की बढ़ने की आशंका है।
गर्मी बढ़ते ही देहरादून में पेयजल संकट गहराने लगा है। कहीं लो प्रेशर तो कहीं जलापूर्ति बाधित होने लगी है। ज्यादातर इलाकों में पेयजल आपूर्ति का समय भी घट गया है। हालांकि, जल संस्थान और पेयजल निगम की ओर से आपूर्ति सुचारू रखने को हर संभव प्रयास किए जाने का दावा किया जा रहा है, लेकिन धरातल पर व्यवस्था हांफने लगी है।
दून में वर्तमान में 279 ट्यूबवेल के साथ ही तीन नदी व झरने के स्रोत हैं, लेकिन ज्यादातर पेयजल आपूर्ति ट्यूबवेल से ही की जाती है। गर्मी बढ़ते ही भूजल स्तर गिर जाता है। ट्यूबवेल की क्षमता भी घटने लगती है। अन्य स्रोतों से भी पानी का प्रवाह घटना शुरू हो जाता है। जिस कारण दून में पेयजल संकट गहराने लगता है। ग्रामीण क्षेत्र पित्थुवाला और रायपुर जोन में गर्मी शुरू होते ही पेयजल संकट ज्यादा गहराने लगता है।