17 साल बाद बांग्लादेश लौटे बीएनपी नेता तारिक रहमान, चुनाव से पहले बदला सियासी समीकरण

बांग्लादेश नेशनलिस्ट पार्टी (बीएनपी) के कार्यवाहक अध्यक्ष तारिक रहमान 17 साल के निर्वासन के बाद अपने परिवार के साथ बांग्लादेश लौट आए हैं। वह अपनी पत्नी डॉ. जोबाइदा रहमान और बेटी बैरिस्टर जाइमा रहमान के साथ लंदन से बिमान बांग्लादेश एयरलाइंस की उड़ान से देश पहुंचे। उनकी फ्लाइट पहले सिलहट के ओस्मानी अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डे पर उतरी, जिसके बाद वह ढाका पहुंचे।
तारिक रहमान वर्ष 2008 से लंदन में निर्वासन में रह रहे थे। देश लौटने के बाद उन्होंने अपने आधिकारिक फेसबुक अकाउंट पर एक तस्वीर साझा करते हुए लिखा, “6,314 दिनों के बाद बांग्लादेश के आसमान में वापसी।” ढाका पहुंचने पर बड़ी संख्या में बीएनपी समर्थकों ने उनका स्वागत किया। फरवरी 2026 में प्रस्तावित संसदीय चुनावों से पहले उनकी वापसी को बांग्लादेश की राजनीति में अहम घटनाक्रम माना जा रहा है।
तारिक रहमान पूर्व प्रधानमंत्री खालिदा जिया के बेटे हैं और बीएनपी के प्रमुख नेताओं में गिने जाते हैं। वर्ष 2008 में उन पर भ्रष्टाचार और अन्य मामलों में आरोप लगे थे, जिसके बाद वह लंदन चले गए थे। बाद में शेख हसीना सरकार के पतन के बाद अदालतों ने उन्हें इन मामलों में बरी कर दिया, जिससे उनकी स्वदेश वापसी का रास्ता साफ हुआ। बीएनपी को आगामी चुनावों में मजबूत दावेदार माना जा रहा है और तारिक रहमान को पार्टी का प्रमुख चेहरा और संभावित प्रधानमंत्री उम्मीदवार बताया जा रहा है।
शेख हसीना के सत्ता से हटने के बाद अंतरिम सरकार के प्रमुख मुहम्मद यूनुस के कार्यकाल में भारत-बांग्लादेश संबंधों में तनाव देखा गया है। इस दौरान पाकिस्तान के साथ रिश्तों में नजदीकी और भारत से दूरी के संकेत मिले हैं। साथ ही, अल्पसंख्यकों पर हमलों और कट्टरपंथी गतिविधियों को लेकर भी चिंताएं सामने आई हैं।
हालांकि, तारिक रहमान के हालिया बयानों में संतुलित विदेश नीति के संकेत मिलते हैं। उन्होंने कहा है कि बांग्लादेश की प्राथमिकता किसी एक देश के बजाय राष्ट्रीय हित होंगे। भारत की ओर से भी बीएनपी नेतृत्व के साथ संवाद बनाए रखने के प्रयास हुए हैं। कयास लगाए जा रहे हैं कि यदि बीएनपी सत्ता में आती है, तो वह क्षेत्रीय संतुलन के साथ भारत से संबंध सुधारने की दिशा में कदम उठा सकती है।
तारिक रहमान की वापसी से अंतरिम सरकार पर राजनीतिक दबाव बढ़ने की संभावना जताई जा रही है। बीएनपी ने यूनुस सरकार के लंबे समय तक फैसले लेने के अधिकार पर सवाल उठाए हैं। वहीं, अंतरिम सरकार ने तारिक रहमान की वापसी का स्वागत करते हुए सुरक्षा व्यवस्था सुनिश्चित की है और निष्पक्ष चुनाव कराने की प्रतिबद्धता दोहराई है। कुल मिलाकर, तारिक रहमान की स्वदेश वापसी ने बांग्लादेश की राजनीति में नई हलचल पैदा कर दी है। आने वाले महीनों में होने वाले चुनाव देश की राजनीतिक दिशा तय करेंगे, जिस पर पड़ोसी देशों की भी करीबी नजर बनी हुई है।







