जनगणना में जाति जनगणना भी शामिल होगी, गृह मंत्रालय के प्रवक्ता ने किया साफ, भ्रमित ना हों

नई दिल्ली: जाति जनगणना को लेकर गृह मंत्रालय के प्रवक्ता का बड़ा बयान सामने आया है। गृह मंत्रालय के प्रवक्ता ने कहा, ‘2027 की जनगणना में जाति जनगणना भी शामिल होगी।’ उन्होंने कहा, ‘ये भ्रामक सूचना फैलाई जा रही है कि राजपत्र अधिसूचना में जाति जनगणना का कोई उल्लेख नहीं है।’ पीटीआई के हवाले से ये जानकारी सामने आई है।
केंद्रीय गृह मंत्रालय ने सोमवार को कहा कि जनगणना 2027 में जाति जनगणना शामिल होगी। उन्होंने कहा कि कुछ भ्रामक जानकारी फैलाई जा रही है कि राजपत्र अधिसूचना में जाति गणना का कोई उल्लेख नहीं है। यह बयान तब आया है जब कांग्रेस ने आरोप लगाया कि सोमवार को जारी राजपत्र अधिसूचना में जाति को शामिल करने के बारे में कुछ नहीं कहा गया है। साथ ही, उन्होंने पूछा कि क्या यह सरकार का एक और यू-टर्न है। बता दें कि जनगणना कराने की अधिसूचना आज आधिकारिक राजपत्र में प्रकाशित की गई है। जनगणना में जाति जनगणना भी शामिल होगी।
भारत में जनगणना दो चरणों में की जाएगी और इसको लेकर केंद्र सरकार की ओर से अधिसूचना भी जारी कर दी गई है। भारत की जनगणना साल 2027 में होगी। गृह मंत्रालय की ओर से सोमवार को जनगणना अधिनियम, 1948 के तहत जनगणना और जातीय जनगणना से संबंधित नोटिफिकेशन जारी किया गया।
जनगणना का पहला चरण एक अक्टूबर 2026 तक पूरा किया जाएगा, जबकि दूसरा चरण एक मार्च 2027 तक पूरा होगा। एक मार्च 2027 को रेफरेंस डेट माना जाएगा। इसके बाद आंकड़ों को सार्वजनिक किया जाएगा।
इसमें गौर करने वाली बात ये है कि पहाड़ी राज्यों जैसे जम्मू-कश्मीर, लद्दाख और उत्तराखंड में जनगणना की प्रक्रिया अन्य राज्यों से पहले शुरू होगी। इसे अक्टूबर 2026 तक पूरा किया जाएगा। वहीं अन्य राज्यों में जनगणना मार्च 2027 तक खत्म हो जाएगी।
बता दें कि सियासी मायनों में भी जाति जनगणना एक बड़ा मुद्दा है। इसके होने से जनता को तो लाभ मिलेगा ही, राजनीतिक दलों को भी अपने वोटरों के बारे में सटीक जानकारी मिलेगी। इसका होना सरकार का एक बड़ा फैसला है।