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बजट में पल्प आयात पर 10 फीसदी सीमा शुल्क की मांग

नई दिल्ली, 16 जनवरी (आईएएनएस)| उद्योग मंडल एसोचैम ने केंद्र सरकार से हार्डवुड केमिकल पल्प और ब्लीच्ड केमी-थर्मो मैकेनिकल पल्प के आयात पर 10 फीसदी सीमा शुल्क लगाने की मांग की, ताकि घरेलू उत्पादन को प्रोत्साहन मिल सके। उद्योग मंडल ने मंगलवार को एक बयान में कहा, इस कदम से नौकरी सृजन को बढ़ावा मिलेगा और देश के विशाल ग्रामीण इलाके की पल्पवुड बागानों के आर्थिक विकास को बढ़ावा मिलेगा।

उद्योग संगठन ने सरकार को बजट-पूर्व भेजी सिफारिशों में कहा है, इस कदम से भारतीय लुगदी और कागज उद्योग के लिए आवश्यक फाइबर के स्थायी तों को विकसित करने में मदद मिलेगी।

बयान में कहा गया है, अनुमान के मुताबिक, भारत में सालाना 12.5 लाख टन पल्प का आयात किया जाता है, जिसका मूल्य 71 करोड़ डॉलर (4,600 करोड़ रुपये) होता है।

सरकार ने साल 2012 के मई में पल्प पर से सीमा शुल्क हटा लिया था। एसोचैम के मुताबिक, इससे सरकार को हर साल 245 करोड़ रुपये सीमा शुल्क का नुकसान हो रहा है।

एसोचैम के महासचिव डी. एस. रावत ने कहा, कागज और पेपरबोर्ड उद्योग के लिए कच्चे माल का निर्माण करनेवाली बागवानी से पर्याप्त रोजगार के अवसर पैदा होंगे।

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