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भारत सुरक्षा परिषद में सदस्‍यता के लिए वीटो की मांग छोड़ दें : अमेरिका

वॉशिंगटन। संयुक्त राष्ट्र में अमेरिका की राजदूत निकी हैली ने कहा है कि भारत संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद की स्थायी सदस्यता चाहता है तो उसे वीटो की मांग छोड़नी होगी। हैली ने साफ किया कि रूस और चीन दो ऐसे देश हैं, जो सुरक्षा परिषद के मौजूदा ढांचे में बदलावों के खिलाफ हैं।

अमेरिका भारत मैत्री परिषद के समारोह में हैली ने कहा कि सुरक्षा परिषद के पांचों स्थायी सदस्यों रूस, चीन, अमेरिका, ब्रिटेन और फ्रांस के पास वीटो का अधिकार है और इसे कोई नहीं छोड़ना चाहता।

ऐसे में सुरक्षा परिषद में भारत को शामिल करने का रास्ता यही है कि वह वीटो का राग अलापना बंद कर दें। सुरक्षा परिषद में सुधारों के मामले में अमेरिकी कांग्रेस या सीनेट की कोई भूमिका नहीं है क्योंकि सदस्य देश कांग्रेस की नहीं सुनते।

बता दें कि भारत लंबे समय से सुरक्षा परिषद में सुधारों की मांग करता आ रहा है। अमेरिका सुरक्षा परिषद में सुधारों को राजी है, लेकिन रूस और चीन पर ध्यान देना होगा, जो इसमें कोई बदलाव नहीं देखना चाहते।

साथ ही निक्की हेली ने कहा कि राष्ट्रपति डॉनल्ड ट्रंप ने पाकिस्तान की ओर से आतंकवादियों को समर्थन देने पर कड़ा रुख अपनाया है। पाकिस्तान पर नजर रखने में भारत उनकी मदद कर सकता है।

अफगानिस्तान और दक्षिण एशिया में आतंकवाद से लड़ने के लिए ट्रंप की ओर से हाल ही में घोषित की गई नई रणनीति का जिक्र करते हुए हेली ने कहा कि इस रणनीति की अहम बातों में से एक भारत के साथ अमेरिका की रणनीतिक साझेदारी विकसित
करना है।

अमेरिकी राष्ट्रपति डॉनाल्ड ट्रंप ने निकी हेली, सीमा वर्मा सहित प्रशासन के वरिष्ठ भारतीय अमेरिकी सदस्यों और समुदाय के नेताओं के साथ ओवल ऑफिस में दिवाली मनाई।

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