लोगों की परेशानी दूर करेगी केन्द्र सरकार, सुप्रीम कोर्ट को भरोसा
नई दिल्ली | सर्वोच्च न्यायालय ने मेडिकल सेवा समेत सभी आवश्यक सेवाओं के लिए अमान्य नोटों के उपयोग की छूट अवधि में विस्तार देने के लिए किसी भी तरह का अंतरिम आदेश देने से इनकार कर दिया और मांग पर ध्यान देने की जिम्मेवारी केंद्र सरकार पर छोड़ दी। केंद्र सरकार को व्याप्त स्थिति के लिए पर्याप्त संवेदनशील मानते हुए मुख्य न्यायाधीश टी.एस. ठाकुर की पीठ ने कहा कि सरकार विचार करेगी और लोगों की हो रही परेशानी दूर करने के लिए समय-समय पर समुचित फैसला लेगी।
अंतरिम आदेश पारित करने से हुए सर्वोच्च न्यायालय ने याचिकाओं की खेप को पांच सदस्यीय पीठ में भेज दिया। याचिकाओं में गत 8 नवंबर को सरकार के फैसले और इसके कारण उत्पन्न मुद्दों को चुनौती दी गई है। सर्वोच्च न्यायालय ने नोटबंदी के खिलाफ विभिन्न उच्च न्यायालयों और निचली अदालतों में दायर याचिकाओं पर चल रही सुनवाई पर भी रोक लगा दी और निर्देश दिया कि गत 8 नवंबर को नोटबंदी के फैसले या इससे संबंधित मुद्दों को चुनौती देने वाली किसी भी याचिका पर सुनवाई सिर्फ शीर्ष अदालत में हो सकती है।
इस तरह सर्वोच्च न्यायालय ने देश की सभी अदालतों को नोटबंदी को चुनौती देने वाली किसी भी याचिका को स्वीकार करने से रोक दिया है।