उप्र : मस्जिद में नमाज पढ़ने से रोकने पर लखनऊ में विरोध प्रदर्शन
लखनऊ, 3 मार्च (आईएएनएस/आईपीएन)। मस्जिद में असामाजिक तत्वों द्वारा नमाज पढ़ने से रोकने की कोशिश के मामले को लेकर रविवार को तहफ्फुज मसाजिद, मदारिस, दरगाह व कब्रस्तान कमेटी के तत्वाधान में कई राजनैतिक व सामाजिक संगठनों ने राजधानी में अंबेडकर प्रतिमा के सामने विरोध प्रदर्शन किया।
प्रदर्शन का नेतृत्व करते हुए राष्ट्रीय भागीदारी आंदोलन के संयोजक पीसी कुरील ने कहा कि देश आजाद होने के बाद संविधान ने भारत में रहने वाले हर धर्म व जाति के लोगों को समान अधिकार दिया है और उस समय किसी भी धर्म का कोई भी धर्मस्थल जिस अवस्था में था, वह उसी प्रकार रखने का कानून बना, उसमें कोई बदलाव करने की जरूरत महसूस नहीं की गई, लेकिन इधर कुछ समय से ऐसा देखने में आ रहा है कि धार्मिक स्थलों पर कब्जा करने का षड्यंत्र रचा जा रहा है।
उन्होंने कहा, “अभी ताजा मामला निजामुद्दीन देहली में लाल मस्जिद का सामने आया है, आजमगढ़ की मस्जिद में भी असामाजिक तत्वों ने नमाज पढ़ने से रोकने की कोशिश की। इसलिए हम लोग धरना कर विरोध जता रहे हैं।”
इसी क्रम में कमेटी के अध्यक्ष हाजी फहीम सिद्दीकी ने कहा कि दुनिया जानती है कि कोई भी मस्जिद गैर कानूनी स्थल पर नहीं बनती और अगर सरकार किसी धार्मिक स्थल के लिए ऐसा निर्णय ले रही है तो अदालत को चाहिए कि वह सर्वे कराए कि देश में कहां कितने अवैध रूप से पूजा स्थल बने हैं, उन सभी को तोड़ा जाए। इंसाफ सबके लिए बराबर होना चाहिए, वरना यह भारतीय स्ंविधान का मजाकउड़ाने के बराबर होगा।
उन्होंने कहा, “हम राष्ट्रपति को ज्ञापन देकर इस मामले का अवगत कराएंगे। कई स्थानों पर नमाज पढ़ने पर रोक लगाई जा रही है, मदरसों को भी निशाना बनाया जा रहा है। कब्रस्तान की जमीनों पर कब्जा करने की साजिश रची जा रही है। इस तरह की हरकतों को राष्ट्रपति अपने संज्ञान में लें और अंकुश लगाएं।”
वहीं, मुहम्मद आफाक ने कहा कि जब से भाजपा सरकार केंद्र और प्रदेश में आई है, तब से धार्मिक उन्माद फैलाकर हिंदू-मुस्लिम के बीच नफरत और धर्म-जाति की राजनीति कर रही है। बजरंग दल, आरएसएस, हिंदू युवा वाहिनी वगैरह के गुंडे कब्रिस्तानों और मस्जिदों पर कब्जा करने की मुहिम चला रहे हैं और इनके आका अपने भाषणों में ‘सबका साथ सबका विकास’ की रट लगाकर जनता को बेवकूफ बनाने में लगे हुए हैं। इन सबको इस लोकतांत्रिक भारत देश में बर्दाश्त नहीं किया जाएगा। भाजपा सरकार नफरत और तिलक-टोपी की राजनीति करना बंद करे।
धरने में कुदरतुल्ला खां, खालिद कुरैशी, गोपाल जी, कमरूद्दीन, उस्मान अंसारी, कमर सीतापुरी, इंद्र प्रकाश बौद्ध, नरेंद्र यादव, सुदीप गौतम, सुबोध गौतम, एडवोकेट हामिद आजाद, शाल्लू खां, मोहम्मद अनस, मोहम्मद शोएब, मोहम्मद शाहरुख मौजूद थे।