येदियुरप्पा का इस्तीफा, कुमारस्वामी को सरकार गठन का न्योता
बेंगलुरू, 19 मई (आईएएनएस)| कर्नाटक में 12 मई को हुए विधानसभा चुनाव के बाद शुरू हुए राजनीतिक नाटक का पटाक्षेप मुख्यमंत्री बी.एस.येदियुरप्पा के इस्तीफे के साथ हो गया। येदियुरप्पा ने सदन में बहुमत परीक्षण से पहले ही पर्याप्त संख्या नहीं होने का हवाला देकर इस्तीफा दे दिया। वहीं जेडी (एस) नेता एच.डी. कुमारस्वामी ने शनिवार को कहा कि कर्नाटक के राज्यपाल वजुभाई वाला ने उन्हें सरकार गठन के लिए आमंत्रित किया है।
कुमारस्वामी ने यहां राज्यपाल से मुलाकात के बाद संवाददाताओं से कहा, शपथग्रहण समारोह सोमवार को आयोजित होगा।
कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी ने मुख्यमंत्री बी.एस. येदियुरप्पा के इस्तीफे के बाद नई दिल्ली में संवाददाता सम्मेलन में भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) और राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (आरएसएस) पर निशाना साधा और कहा कि उम्मीद है कि उन्हें सबक मिल गया होगा कि संविधान, उच्च संस्थानों और देश की इच्छाशक्ति का अनादर नहीं किया जा सकता।
कर्नाटक चुनाव में त्रिशंकु विधानसभा की स्थिति सामने आई, जिसमें भाजपा 104 सीटें जीतकर सबसे बड़ी पार्टी बनकर उभरी और इसी आधार पर राज्यपाल ने येदियुरप्पा को सरकार बनाने का न्योता दे दिया, और उन्हें शपथ ग्रहण कराकर बहुमत साबित करने के लिए 15 दिनों का समय दे दिया। जबकि 116 विधायकों के साथ कांग्रेस व जनता दल (सेकुलर) के सरकार बनाने के दावे को राज्यपाल ने ठुकरा दिया। इसके खिलाफ कांग्रेस ने सर्वोच्च न्यायालय का दरवाजा खटखटाया, जिसके बाद भाजपा को शनिवार शाम चार बजे तक सदन में बहुमत साबित करने का निर्देश दिया गया।
सदन में इस्तीफा से पहले अपने भावुक भाषण में येदियुरप्पा ने कहा, अगर मैं सत्ता छोड़ता हूं, तो भी मेरा कुछ नहीं बिगड़ेगा। मेरा जीवन जनता के लिए है।
अपने 15 मिनट के भाषण में 75 वर्षीय भाजपा नेता ने कहा कि ऐसा कोई रास्ता नहीं बचा था, जिससे कर्नाटक के लोगों की सेवा की जाए, क्योंकि कांग्रेस ने अपने विधायकों को उनके परिजनों से भी बातचीत करने नहीं दिया।
उन्होंने कहा, पिछले पांच वर्षो में सैकड़ों किसानों ने यहां आत्महत्या की है। कांग्रेस भारत की आजादी के 70 वर्षो बाद भी किसानों के लिए सिंचाई का पानी उपलब्ध नहीं करा सकी। मेरा उद्देश्य अंतिम सांस तक किसानों की मदद करना है। मैं इसके अलावा दलितों, पिछड़े वर्गो, कमजोर वर्गो और गरीबों के लिए काम करता रहूंगा।
येदियुरप्पा ने कहा, मेरा सपना था कि नरेंद्र मोदी के प्रधानमंत्री रहते हुए मैं राज्य का मुख्यमंत्री बनूं। अगर लोगों ने हमें 104 के बदले 113 सीटें दी होती तो, हम इस राज्य को स्वर्ग बना देते। लेकिन मैं अपनी अंतिम सांस तक राज्य के लिए लड़ता रहूंगा। हम लोकसभा की सभी 28 सीटों पर जीत दर्ज करेंगे और अगले विधानसभा चुनाव में नरेंद्र मोदी के लिए 150 सीटों पर जीत दर्ज करेंगे।
उन्होंने कहा, राज्य की जनता ने कांग्रेस और जेडी (एस) को दरकिनार कर दिया। लोगों ने कांग्रेस के कुशासन के खिलाफ वोट दिया। मैंने पहले भी कई बार ‘अग्नि परीक्षा’ दी है और यह विश्वास मत भी एक अग्नि परीक्षा है।
वहीं दिल्ली में कांग्रेस अध्यक्ष ने मोदी पर निशाना साधते हुए कहा कि ‘मोदी भ्रष्टाचार हैं’ और प्रधानमंत्री, अमित शाह और राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (आरएसएस) किसी भी उच्च संस्थान को आदर के लायक नहीं समझते।