जीपीएस ट्रैकर कर रहा खोए वाहन ढूंढने में मदद
सोलन, 18 मई (आईएएनएस)| जीपीएस ट्रैकिंग सिस्टम वाहन मालिकों को उनके खोए हुए वाहनों से मिलवा रहा है। ऐसे ही एक मामले में बाघा निवासी जुल्फीराम शर्मा ने अपना चोरी हुआ कॉमर्शियल वाहन हाई-टेक जीपीएस ट्रैकिंग डिवाइस की मदद से सफलतापूर्वक ढूंढ लिया। जुल्फीराम का ट्रक सोमवार रात उस समय चोरी हो गया था, जब वह आर्की तहसील के बाघा गांव में पार्किं ग में खड़ा था और अगले दिन काम पर जाना था। अगली सुबह जब ड्राइवर ड्यूटी के लिए आया तो वाहन पार्किं ग से गायब था। चोरी की इस घटना के बारे में चालक ने तुरंत जुल्फीराम को सूचित किया। वाहन मालिक जुल्फीराम को तब अपने वाहन की लोकेशन जीपीएस ट्रेकिंग एप्लीकेशन की मदद से पता करने का विचार आया। अपने मोबाइल फोन में इंस्टॉल लेट्सट्रैक ट्रेकिंग डिवाइस की मदद से जुल्फीराम ने पाया कि उनका ट्रक चंडीगढ़ के नजदीक आनंदपुर साहिब स्थित विरासत-ए-खालसा के पास खड़ा है। उन्होंने बिना देर किए अपने मोबाइल एप से ट्रक का इंजन बंद कर दिया।
अपना ट्रक वापस मिल जाने के बारे में जुल्फीराम ने कहा, जब ड्राइवर ने मुझे फोन किया और चोरी की यह घटना बताई तो मैं पूरी तरह स्तब्ध रह गया। हालांकि, मैं लेट्सट्रैक मोबाइल एप्लीकेशन की मदद से ट्रक की डीजल खपत पर नजर रखता हूं। इस घटना के बाद मैंने लेट्सट्रैक के डिस्ट्रीब्यूटर्स से बात की, उन्होंने तत्काल मेरी बात का जवाब दिया और मोबाइल फोन से ट्रक का इंजन बंद करने की सलाह दी। मुझे बिल्कुल पता नहीं था कि यह मोबाइल एप मेरे वाहन की लोकेशन बताकर चोरों को रंगे हाथों पकड़ने में मदद करेगी। मैं लेट्सट्रैक का आभारी हूं जिसने मुझे अपना ट्रक ढूंढने में मदद की।
हिमाचल प्रदेश में बढ़ती वाहन चोरियां आम बात हो गई है। वाहन चोर पार्किं ग में खड़े व्यावसायिक वाहनों को ज्यादा निशाना बना रहे हैं क्योंकि रात को इन्हें लेकर फरार होना आसान बना देता है। ज्यादातर मामलों में वाहन मालिकों ने अपने वाहनों में जीपीएस ट्रैकिंग डिवाइस नहीं लगवाई होती है। हालांकि इस तरह के मामलों से निपटने के लिए उनको एडवांस्ड जीपीएस ट्रैकिंग डिवाइस और एप्लीकेशंस लगवानी चाहिए ताकि उनको चोरी हुए वाहन की लोकेशन पता करने में मदद मिले। यही नहीं, इस एप की मदद से मोबाइल फोन के जरिए वे इंजन को भी बंद कर सकते हैं ताकि चोर वाहन को लेकर ज्यादा आगे नहीं जा सकें।
इसके अलावा, अब जीपीएस ट्रैकिंग एप्लीकेशंस नए कॉमर्शियल ट्रांजिट रूल्स का हिस्सा बन रहे हैं। इससे वाहन चोरी की घटनाओं में कमी आएगी और वाहन मालिक छोटी सी लागत में भारी नुकसान से बच सकेंगे।