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बैडमिंटन : बीएआई ने भारतीय खिलाड़ियों को दिए नगद पुरस्कार

नई दिल्ली, 5 मई (आईएएनएस)| भारतीय बैडमिंटन संघ (बीएआई) ने आस्ट्रेलिया के गोल्ड कोस्ट में आयोजित 21वें राष्ट्रमंडल खेलों में ऐतिहासिक सफलता अर्जित करने वाले खिलाड़ियों को शनिवार को यहां आयोजित सम्मान समारोह के दौरान नगद पुरस्कार दिए।

इस समारोह में भारतीय ओलम्पिक संघ (आईओए) के अध्यक्ष नरेंद्र ध्रुव बत्रा, पूर्व पदकधारी, भारतीय बैडमिंटन संघ के अध्यक्ष हेमंता विस्वा सरमा और अन्य गणमान्य लोग शामिल हुए।

बीएआई ने गोल्ड कोस्ट में अपनी चमक बिखेरने वाली टीम के बीच एक करोड़ 30 लाख रुपये वितरित किए। गोल्ड कोस्ट जाने वाली टीम में शामिल 10 खिलाड़ियों को पांच-पांच लाख रुपये का पुरस्कार दिया गया। भारतीय खिलाड़ियों ने शानदार प्रदर्शन करते हुए पहली बार मिश्रित टीम स्पधार्ओं में स्वर्ण पदक हासिल किया था।

बीएआई ने व्यक्तिगत स्पर्धा में स्वर्ण पदक जीतने पर सायना नेहवाल को अलग से 20 लाख रुपये दिए। व्यक्तिगत स्वर्धा में रजत पदक जीतने वाले पीवी सिंधु और किदाम्बी श्रीकांत को 10-10 लाख रुपये अलग से दिए गए।

पुरुष युगल में पदक जीतने वाले सात्विकसाईराज रेंकीरेड्डी और चिराग शेट्टी को 7.5-7.5 लाख रुपये दिए गए। इन दोनों ने भारत को पुरुष युगल में पहली बार पदक दिलाया। इसके अलावा अश्विन पोनप्पा और सिक्की रेड्डी की महिला युगल जोड़ी को 3.75-3.75 लाख रुपये का पुरस्कार दिया गया। इन दोनों ने महिला युगल में कांस्य जीता था।

खिलाड़ियों के अलावा बीएआई ने कोचिंग स्टाफ को भी उसके शानदार काम के लिए पुरस्कृत किया। मुख्य राष्ट्रीय कोच पुलेला गोपीचंद को 10 लाख रुपये का चेक प्रदान किया गया जबकि डबल्स के विदेशी कोच तान काम हे और सहायक कोच सियादात उल्लाह सिद्दीकी को क्रमश: तीन और 1.5 लाख रुपये का पुरस्कार दिया गया। क्लारान, जानसन और गायत्री (सभी फिजियो) को एक-एक लाख रुपये का पुरस्कार मिला।

इस अवसर पर बीएआई प्रमुख ने कहा, यहां खड़ा होकर मैं सम्मानित महसूस कर रहा हूं। हम यहां गोल्ड कोस्ट में अपने खिलाड़ियों की सफलता जश्न मनाने के लिए जमा हुए है। हमारे खिलाड़ियों ने न सिर्फ इतिहास कायम किया बल्कि वैश्विक स्तर पर भारत की साख के साथ न्याय भी किया है। मैं पूरे कोचिंग स्टाफ को उनके शानदार काम के लिए बधाई देना चाहता हूं। साथ ही मैं खिलाड़ियों को एशियन चैम्पियनशिप में शानदार प्रदर्शन करने के लिए बधाई देना चाहता हूं।

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