एमनेस्टी ने ट्रंप पर मानवाधिकारों के हनन का आरोप लगाया
वॉशिंगटन, 22 फरवरी (आईएएनएस)| मानवाधिकार संस्था एमनेस्टी इंटरनेशनल ने गुरुवार को अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप पर घृणास्पद राजनीति करने का आरोप लगाया।
संस्था ने साथ ही कहा कि उनकी नीतियां अमेरिका और विश्वभर में मानवाधिकारों के दमन के एक नए युग की सूचक हैं। मानवाधिकार संस्था ने वॉशिंगटन में एक समारोह में जारी अपनी वार्षिक रिपोर्ट में कहा, ट्रंप जो कदम उठाते हैं, उनसे देश और विदेश में मानवाधिकारों का हनन होता है। मानवाधिकारों को लेकर विपरीत दिशा में उठने वाले उनके कदमों से अन्य सरकारों के लिए भी एक खतरनाक उदाहरण पेश हो रहा है।
एमनेस्टी ने अपनी रिपोर्ट ‘विश्व में मानवाधिकारों की स्थिति’ में कहा कि वैश्विक नेता ऐसे दुर्व्यवहारों को रोकने में नाकाम रहे हैं, जैसा कि म्यांमार में रोहिंग्या मुस्लिमों के मामले में हुआ।
बीबीसी की रिपोर्ट के मुताबिक, एमनेस्टी ने ट्रंप को मिस्र, रूस, चीन, फिलिपींस और वेनेजुएला के नेताओं के समूह में रखा है।
रिपोर्ट में कहा गया कि ट्रंप और मिस्र के राष्ट्रपति अब्देल फतेह अल सीसी, फिलिपींस के राष्ट्रपति रोड्रिगो दुतेर्ते, वेनेजुएला के राष्ट्रपति निकोलस मदुरो, रूस के राष्ट्रपति व्लादीमिर पुतिन और चीन के राष्ट्रपति शी जिनपिंग समेत अन्य नेता ‘लाखों लोगों के अधिकारों का हनन कर रहे हैं।’
एमनेस्टी प्रमुख सलिल शेट्टी ने कहा, अब दुनिया में घृणा और डर का व्यापक माहौल पैदा हो गया है और केवल कुछ ही सरकारें हैं, जो इस जटिल समय में मानवाधिकार के लिए खड़ी होती हैं।
एमनेस्टी की रिपोर्ट में ट्रंप के यात्रा प्रतिबंध के आदेश को एक स्पष्ट घृणास्पद कदम कहा गया है। रिपोर्ट में साथ ही वैश्विक नेताओं द्वारा मीडिया पर प्रहार के लिए ट्रंप द्वारा लोकप्रिय बनाए गए ‘फेक न्यूज’ के जुमले का इस्तेमाल करने की भी निंदा की।