बाबा घासीदास ने छत्तीसगढ़ को नई पहचान दी : राष्ट्रपति
रायपुर, 6 नवंबर (आईएएनएस)| छत्तीसगढ़ पहुंचे राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद ने कहा कि 18वीं सदी के महान समाज सुधारक गुरु बाबा घासीदास ने सत्य और अहिंसा पर आधारित अपने जीवन दर्शन के माध्यम से देश और दुनिया में छत्तीसगढ़ को एक नई पहचान दी है। कोविंद सोमवार को दोपहर गुरु बाबा घासीदास की जन्मस्थली और तपोभूमि गिरौदपुरी धाम में दो करोड़ 25 लाख रुपये की लागत से बनने वाले सामुदायिक भवन के भूमिपूजन समारोह को संबोधित कर रहे थे। उन्होंने कहा, गिरौदपुरी धाम एक पवित्र तीर्थ है, जो हमें गुरु बाबा घासीदास के महान आदर्शो की याद दिलाता है। जब कभी समाज में निराशा बढ़ती है, तो उसे सही रास्ता दिखाने के लिए गुरु बाबा घासीदास जैसे महान संतों का अवतरण होता है।
कोविंद ने कहा, छत्तीसगढ़ में आज से लगभग 200 वर्ष पहले गुरु बाबा घासीदास ने समाज सुधार के लिए जन-जागरण का जो ऐतिहासिक कार्य किया, वह अपने आप में प्रेरणादायक मिसाल है। गुरु बाबा ने संपूर्ण मानव समाज के कल्याण के लिए कार्य किया। सभी धर्मो में उनके अनुयायी हैं।
राष्ट्रपति ने कहा, गुरु घासीदास जी ने मानव जीवन में नैतिकता और सादगी पर विशेष रूप से जोर दिया था। उन्होंने तत्कालीन समाज में महिलाओं को सम्मानजनक स्थान दिलाने और विधवा विवाह को प्रोत्साहन देने का भी सराहनीय प्रयास किया। उनके आकर्षण और आशीर्वाद से मैं यहां राष्ट्रपति बनने के पहले बिहार के राज्यपाल के रूप में भी आया था।
उन्होंने कहा, राष्ट्रपति बनने के बाद गिरौदपुरी धाम की यह मेरी पहली यात्रा है। मैं यहां राष्ट्रपति के रूप में नहीं, बल्कि एक श्रद्धालु के रूप में बाबा का आशीर्वाद लेने आया हूं। जिस प्रकार बिहार में बौद्ध गया हिंदुओं के साथ-साथ बौद्ध धर्म के करोड़ों लोगों की आस्था का केंद्र है, ठीक उसी तरह गिरौदपुरी धाम भी हम सबके लिए एक पवित्र तीर्थ है।
राष्ट्रपति ने कहा कि गिरौदपुरी धाम में छत्तीसगढ़ सरकार ने जिस विशाल जैतखाम का निर्माण करवाया है, वह आधुनिक वास्तु शिल्प का बेजोड़ उदाहरण है।
कोविंद ने कहा, छत्तीसगढ़ के बिलासपुर में संचालित गुरु घासीदास केंद्रीय विश्वविद्यालय का मैं कुलाधिपति भी हूं। इसलिए आगे भी मुझे कई बार गिरौदपुरी आने-जाने का अवसर मिलेगा।
समारोह की अध्यक्षता मुख्यमंत्री डॉ. रमन सिंह ने की। उन्होंने कहा, गिरौदपुरी धाम में राष्ट्रपति कोविंद के आगमन से लोगों में भारी उत्साह देखा जा रहा है। जनता ने उनका अभूतपूर्व स्वागत किया है। छत्तीसगढ़ संत महात्माओं की धरती है। सिंह ने राष्ट्रपति को गिरौदपुरी के विशाल जैतखाम की अनुकृति भेंट की।
कोविंद रविवार को दोपहर बाद रायपुर पहुंचे थे। राष्ट्रपति के रूप में यह उनकी पहली छत्तीसगढ़ यात्रा है।