‘मै तुषार..मोहनदास करमचंद गांधी हूं’
नई दिल्ली, 30 अक्टूबर (आईएएनएस)| महात्मा गांधी के परपोते तुषार गांधी ने सोमवार को सर्वोच्च न्यायालय की ओर से महात्मा गांधी हत्याकांड मामले को दोबारा खोले जाने का विरोध करने के लिए उनके हस्तक्षेप के अधिकार (लोकस स्टैंडी) के बारे में पूछे जाने पर न्यायालय को ध्यान दिलाते हुए कहा कि मैं ‘तुषार अरुण मणिलाल मोहनदास करमचंद गांधी हूं।’ तुषार ने ट्वीट कर कहा, बापू के हत्यारों ने उनकी हत्या की परिस्थितियों को झूठा बनाने के लिए एक अभियान चलाया है, यह उनके द्वारा अपने हाथों में लगे खून को धोने का निराशाजनक प्रयास है।
उन्होंने 2007 में प्रकाशित अपनी किताब ‘लेट्स किल गांधी : ए क्रानिकल ऑफ हिज लास्ट डेज, द कांस्पाइरेसी, मर्डर, इंवेस्टिगेशन एंड ट्रायल’ के मुख्य पृष्ठ की फोटो को पोस्ट करते हुए सर्वोच्च न्यायालय से कहा कि ‘इस मामले के संबंध में यह मेरा हस्तक्षेप का अधिकार (लोकस स्टैंडी) है।’
एक अन्य ट्वीट में उन्होंने कहा , मैं तुषार अरुण मणिलाल मोहनदास करमचंद गांधी हूं। यह मेरी स्थिति है, सर्वोच्च न्यायालय, कृपया इसे नोट करे।
तुषार ने ये सिलसिलेवार ट्वीट न्यायधीश एस. ए. बोबडे और एम.एम. शांतनगौदर द्वारा 70 वर्ष पुराने हत्याकांड मामले की दोबारा सुनवाई की याचिका का विरोध करने पर उनके अधिकार के बारे में पूछने के बाद किए।
तुषार गांधी की तरफ से शीर्ष वकील इंदिरा जयसिंह ने न्यायालय से कहा कि अगर न्यायालय नोटिस जारी करने के साथ आगे बढ़ता है तो वह अधिकार और हैसियत के मुद्दे पर विस्तृत रूप से पक्ष रखेंगी।