रिस्पना के पुनर्जीवीकरण से बदलेगी देहरादून की सूरत, कवायत शुरू
उत्तराखंड के मुख्यमंत्री त्रिवेन्द्र सिंह रावत ने शनिवार को सचिवालय स्थित वीरचन्द्र सिंह गढ़वाली सभागार में रिस्पना को ऋषिपर्णा नदी के स्वरूप में लाने के लिए किए जा रहे प्रयासों की समीक्षा की।
उन्होंने इस सम्बन्ध में नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ हाइड्रोलॉजी (एन.आई.एच), रूड़की द्वारा रिस्पना नदी के सम्पूर्ण क्षेत्र की भूमि व जल संवर्धन से सम्बन्धित विस्तृत प्रस्तुतिकरण का भी अवलोकन किया।
मुख्यमंत्री ने कहा कि एनआईएच रुड़की द्वारा तैयार की गई इस विस्तृत अध्ययन रिपोर्ट के आधार पर शीघ्र डीपीआर तैयार की जाए, ताकि अगले माह तक इसकी निविदा प्रकाशित कर कार्य प्रारम्भ किया जा सके। मुख्यमंत्री ने इस सम्बन्ध में सभी सम्बन्धित विभागों की संयुक्त बैठक भी आयोजित किये जाने के निर्देश दिए।
उन्होंने कहा कि रिस्पना का पुनर्जीवीकरण देहरादून शहरवासियों के व्यापक हित से जुड़ा विषय भी है। इसमें देहरादून के पर्यावरण को संरक्षित करने में मदद मिलेगी और भविष्य में जल संकट के समाधान की भी राह प्रशस्त हो सकेगी।
मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रारम्भिक चरण में रिस्पना और कोसी नदी को पुनर्जीवित करने का लक्ष्य रखा गया है। इसके बाद अन्य नदियों को भी पुनर्जीवित किया जाएगा। आने वाली पीढ़ी को सुरक्षित रखने के लिए जल संरक्षण की दिशा में विशेष प्रयासों की उन्होंने जरूरत बताई। जल संरक्षण के लिए वृक्षारोपण करना जरूरी है। सूखे जल स्त्रोतों को पुनर्जीवित करना हम सबका दायित्व है।