विवाह बंधन में बंधीं 52 दिव्यांग और निर्धन जोड़ियां
नई दिल्ली, 3 मार्च (आईएएनएस)| नारायण सेवा संस्थान द्वारा आयोजित 32वें दिव्यांग और निर्धन सामूहिक विवाह समारोह में 52 दिव्यांग और निर्धन जोड़ियों ने रविवार को एक साथ जीने-मरने की कसमें खाईं।
राजौरी गार्डन में 2-3 मार्च को आयोजित इस विवाह समारोह में इन जोड़ियों के लिए 52 वेदियां तैयार की गई थीं, जहां पर धार्मिक स्थलों से पहुंचे धर्माचार्यो ने पूरे विधि विधान व रीति-रिवाज के साथ विवाह उत्सव संपन्न कराया। दुनियाभर से आए भामाशाहों ने नव दंपतियों को आशीर्वाद दिया।
इस सामूहिक विवाह समारोह में लगभग 3000 मेहमानों ने भाग लिया। देश के विभिन्न राज्यों से चुने गए जोड़े अपने परिजनों के साथ इस दो दिवसीय विवाह समारोह में शामिल हुए। नारायण सेवा संस्थान ने दिल्ली में इन सभी के रहने खाने का इंतजाम किया था।
नारायण सेवा संस्थान व दुनियाभर से जुटे भामाशाहों की ओर से इन नव दंपतियों को अपने जीवन को नए सिरे से शुरू करने के लिए गृहस्थी के सभी साजो सामान भी प्रदान किए गए। इसके अलावा वधू को श्रृंगार के साजो-सामान भी प्रदान कराए गए। इस दौरान तीन दिव्यांगों को ट्राईसाइकल, लगभग आधा दर्जन ईयर मशीन व कैलिपर्स भी दिए गए।
नारायण सेवा संस्थान के अध्यक्ष प्रशांत अग्रवाल ने कहा, “नारायण सेवा संस्थान पिछले 18 वर्षो से दिव्यांग विवाह समारोह आयोजित कर रहा है। नारायण सेवा संस्थान ने अब तक 30 से अधिक सामूहिक विवाह कार्यक्रम सफलतापूर्वक आयोजित किए हैं। इस दौरान 1,300 से अधिक जोड़ों को अपनी नई पारी शुरू करने में मदद की गई है। हमारा प्रयास दिव्यांगों और निर्धन व्यक्तियों को सहायता प्रदान करना है, ताकि उन्हें समाज की मुख्यधारा में जीने का अवसर मिल सके।”
इससे पहले, नारायण सेवा संस्थान की वार्षिक पहल का आयोजन राजस्थान, महाराष्ट्र, हरियाणा और दिल्ली जैसे विभिन्न राज्यों में किया गया है। नारायण सेवा संस्थान विशेष रूप से विकलांगों के लिए 1100 बिस्तरों वाला अस्पताल भी चलाता है जहां बिना किसी खर्च के सर्जरी की जाती है। नारायण सेवा संस्थान का अपने परिसर में एक कौशल केंद्र है जहां फैशन डिजाइनिंग और टेलरिंग कार्य, मोबाइल रिपेयरिंग और कंप्यूटर लर्निग ट्रेनिंग मुहैया कराई जाती है।