लोकसभा अपराह्न 2 बजे तक के लिए स्थगित
नई दिल्ली, 17 दिसंबर (आईएएनएस)| राफेल सौदे की जांच के लिए संयुक्त संसदीय समिति के गठन और आंध्र प्रदेश को विशेष दर्जा की मांग सहित विभिन्न मांगों को लेकर विपक्ष के हंगामे के चलते लोकसभा की कार्यवाही सोमवार अपरान्ह दोपहर दो बजे तक के लिए स्थगित कर दी गई। इससे पहले दोपहर 12 बजे तक के लिए कार्यवाही स्थगित की गई थी। इसके बाद जैसे ही सदन की कार्यवाही शुरू हुई, कांग्रेस, ऑल इंडिया अन्ना द्रविड़ मुनेत्र कड़गम (अन्नाद्रमुक) और तेलुगू देशम पार्टी (तेदेपा) के सदस्यों ने लोकसभा अध्यक्ष सुमित्रा महाजन के आसन के पास पहुंचकर हंगामा करना शुरू कर दिया।
अन्नाद्रमुक के सदस्यों ने कावेरी जल मुद्दा उठाया, जबकि तेदेपा ने आंध्र प्रदेश को विशेष दर्जा दिए जाने की मांग की।
कांग्रेस सदस्यों ने ‘राफेल सौदे पर शीर्ष अदालत को गुमराह करने को लेकर’ सरकार विरोधी नारे लगाए। उन्होंने प्लेकार्ड दिखाए जिस पर लिखा था, “ऐसी सरकार जो सर्वोच्च न्यायालय से झूठ बोलती है, उसे सत्ता में बने रहने का हक नहीं है।”
भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के सदस्यों ने भी कांग्रेस को आड़े हाथों लिया और सर्वोच्च न्यालय द्वारा सरकार को क्लीन चिट दिए जाने के बाद कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी से माफी मांगने को कहा।
भाजपा सदस्यों ने भी प्रिंटेड प्लेकार्ड थाम रखा था, जिस पर लिखा था, “कांग्रेस पार्टी झूठी है, राहुल गांधी को माफी मांगनी चाहिए।”
अध्यक्ष सुमित्रा महाजन ने हंगामा कर रहे सदस्यों से प्रश्नकाल चलने देने का अनुरोध किया, लेकिन हंगामा जारी रहा।
हंगामे के बीच और कांग्रेस सांसद शशि थरूर के विरोध के बावजूद, केंद्रीय कानून मंत्री रविशंकर प्रसाद ने मुस्लिम महिला (विवाह संबंधी अधिकार संरक्षण) विधेयक, 2018, जिसे आमतौर पर तीन तलाक विधेयक के रूप में जाना जाता है, पेश किया ।
थरूर ने कहा कि यह विधेयक एक विशिष्ट धर्म पर आधारित है और यह ‘संविधान की धारा 14 और 21 का उल्लंघन है।’
शोरशराबे के बीच ही शिरोमणि अकाली दल के प्रेम सिंह चंदूमाजरा ने 1984 के सिख विरोधी दंगों में कांग्रेस नेता सज्जन कुमार के खिलाफ आए उच्च न्यायालय के फैसले के बारे में बोला, जबकि भाजपा के गणेश सिंह ने अयोध्या में जल्द एक भव्य राम मंदिर का निर्माण कराने की मांग की।
विपक्ष के हंगामा जारी रखने पर लोकसभा अध्यक्ष सुमित्रा महाजन ने अपरान्ह दो बजे तक के लिए सदन की कार्यवाही स्थगित कर दी।
इससे पहले, सदन की कार्यवाही दोपहर 12 बजे तक के लिए स्थगित कर दी गई थी।
जैसे ही सदन की कार्यवाही शुरू हुई थी कांग्रेस और तेदेपा के सदस्य अध्यक्ष के आसन के समीप पहुंचकर सरकार विरोधी नारे लगाने लगे थे।
महाजन ने उनसे शून्यकाल में मुद्दा उठाने के लिए कहा लेकिन वे नहीं माने, जिसके चलते उन्हें कार्यवाही स्थगित करनी पड़ी।