पैरों से लाचार महिला का सफल इलाज, अपने पैरों पर खड़ी हुई
गुरुग्राम, 30 अगस्त (आईएएनएस)| गुरुग्राम के नारायणा सुपरस्पेशलिटी अस्पताल में पैरों से लाचार 31 वर्षीय सुमन का पूरा इंटरनल फंक्शन बदला गया और सफल इलाज के बाद महिला अपने पैरों पर चलने में सक्षम हो गई।
31 वर्षीय सुमन पंचाल एक नवजात बच्चे की मां हैं, जो न तो बैठ सकती थी और न ही अपना कोई काम अपने आप कर सकती थी। इस गंभीर समस्या से सुमन के साथ-साथ उनके बच्चे का भविष्य भी अंधकार में था।
दरअसल 18 महीने पहले सुमन के पीठ के निचले हिस्से में दर्द होना शुरू हुआ था। इस दौरान सुमन गर्भावस्था में भी थी। गर्भावस्था के साथ-साथ दर्द भी बढ़ता गया, लेकिन सुमन ने उस अवधि के दौरान कोई इलाज नहीं करवाया। बच्चे को जन्म देने के कुछ दिनों बाद मामूली से दर्द ने रीढ़ के निचले हिस्से में टुबरक्लोसिस जैसी गंभीर बीमारी का रूप ले लिया।
नारायणा सुपरस्पेशलिटी अस्पताल में आथेर्पेडिक्स, जॉइंट रिप्लेसमेंट एंड स्पाइन सर्जरी के चिकित्सक राजेश कुमार वर्मा ने कहा, सुमन की समस्या की जांच की गई। उनकी निचली रीढ़ की एमआरआई से ये पता चला कि रीढ़ की हड्डी में काफी दिक्कत है और उसके साथ ही बीच की रीढ़ की हड्डी में पस बन चुका था। उस पस को हमने सर्जरी के दौरान निकाला और दुबारा से उन हड्डियों को उन्हीं जगह पर फिक्स कर दिया।
सर्जरी के तुरंत बाद ही सुमन को अपने पैरों की उंगलियों में सुधार दिखना शुरू हो गया। अब सर्जरी को लगभग दो महीने हो चुके हैं और सुमन बिना किसी सहारे के अपने दोनों पैरों पर खड़े होकर चल फिर सकती है और अब उसकी पीठ में भी कोई दर्द नहीं है।